Reena Roy: बॉलीवुड की दुनिया में जब भी पुरानी अदाकारा की बात आती है तो सायरा अली को जरूर याद किया जाता है. जिन्होंने अपने दमदार एक्टिंग और स्टाइल के दम पर सिनेमा घरों के पर्दों पर लाजवाब किरदार निभाया है. ऐसी ही एक फिल्म साल 1976 में रिलीज हुई. जिसका नाम था नागिन इस फिल्म के एक मशहूर गाने ने करोडों दिलों को जीता. इस गाने के अलफाज थे ‘तेरे संग प्यार मैं नहीं तोड़ना, चाहे तेरे पीछे जग पड़े छोड़ना गाना को लता मंगेशकर ने गाया था. इस फिल्म में रीना रॉय की अदाओं के साथ ये गाना बेहद पसंद किया गया. इस गाने ने सिनेमा घरों में खूब जलवा बिखेरा.

अगर आपने भी कभी ये फिल्म देखी है तो आपके जेहन में इच्छाधारी नागिन के रूप में झूमती रीना रॉय की तस्वीरें आ चूकी होगीं. हालांकि रीना रॉय को फिल्म में कई गानों में दिखाया गया है, लेकिन इस गाने को फिल्म में ज्यादा तवज्जों दी गई. अक्सर आपने भी देखा होगा ये गाना आज के दौर में भी लोगों की जुबान से सुनने को मिल जाता है. लेकिन हम आज उनकी एक्टिंग या फिल्मों के बारे में नहीं बल्कि उनके असली जिंदगी से रूबारू कराने जा रहे हैं.

सायरा अली कैसे बनी रीनी रॉय़
दरअसल, बात 70 और 80 के दशक के जमाने की है. जब एक्टर सायरा खूबसूरती के साथ-साथ अपनी एक्टिंग के दम से भी अपने फैंस को दीवाना बना रही थी. रीना रॉय का जन्म 7 जनवरी 1957 में हुआ था. इनका असली नाम सायरा अली था, जो एक मुस्लिम परिवार में पैदा हुई. इनके पिता नाम सादिक अली था, जो पहले से ही फिल्मों की दुनिया से जुड़े थे.
बताते चलें कि सायरा की दो बहनें और भी थी, लेकिन इनके माता-पिता की शादी के कुछ वक्त बाद ही आपसी अनबन के चलते दोनों के बीच तलाक हो गया. जिसके बाद सायरा को उनकी मां ने अपने पास रखने का फैसला किया. उनकी मां ने सायरा अली नाम बदलकर रूपा रॉय रख दिया. अब वक्त आगे जा रहा था तो धीरे- धीरे रूपा भी बड़ी होती जा रही थी. हालांकि इस दौरान उनके घर की कमाई का कोई जरिया नहीं था. जिसके चलते घर के मौजूदा हालात भी काफी खराब थे. वहीं अब रूपा भी कुछ समझदार हो चुकी थी. घर के हालातों को देखते हुए रूपा ने कम उम्र में ही फिल्मों में काम करने का फैसला किया.